हाल ही में पूर्व केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव प्रीति सूदन (Preeti Sudan) को संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) के अगले अध्यक्ष के रूप में चुना गया है प्रीति 01 अगस्त को अपना पदभार ग्रहण करेंगी. बता दें कि एक महीने पहले संघ लोक सेवा आयोग के अध्यक्ष मनोज सोनी ने अपने कार्यकाल सम्पति से पहले ही अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. आपकी जानकारी के लिए बता दें कि सोनी ने व्यक्तिगत वजहों का हवाला देकर पद से इस्तीफा दिया था.
प्रीती सूदन, 29 नवंबर 2022 से यूपीएससी मेंबर के पद पर कार्यरत हैं लेकिन अब यूपीएससी की जिम्मेदारी निभाती नजर आयेंगी प्रीति अध्यक्ष के रूप में अप्रैल 2025 तक अपनी सेवानिवृत्ति तक इस पद पर रहेंगी.
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की स्वीकृति के बाद यूपीएससी सचिव शशि रंजन कुमार को अतिरिक्त सचिव मनोज कुमार द्विवेदी द्वारा औपचारिक पत्र में उनकी नियुक्ति की घोषणा की गई.
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कौन है प्रीति सूदन:
प्रीति सूदन आंध्र प्रदेश कैडर की 1983 बैच की आईएएस अधिकारी हैं. उनके पास लगभग 37 वर्षों का अनुभव है. उनके पास सरकार के विभिन्न प्रशासनिक क्षेत्रों में कार्य करने का खासा अनुभव है.
लंदन स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स से इकोनॉमिक्स और सोशल पॉलिसी और प्लानिंग में डिग्री हासिल करने वाली प्रीति वॉशिंगटन में सार्वजनिक वित्त प्रबंधन में भी प्रशिक्षित हैं.
सूदन ने जुलाई 2020 तक तीन साल तक केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव के रूप में कार्य किया. अपने कार्यकाल के दौरान, सूदन ने कोविड-19 महामारी के समय में मुख्य रणनीतिकार की भूमिका निभाई.
सूदन खाद्य और सार्वजनिक वितरण विभाग की सचिव थीं. उन्होंने महिला और बाल विकास, रक्षा मंत्रालय और वित्त और योजना, आपदा प्रबंधन, पर्यटन और कृषि जैसे क्षेत्रों में भी सेवाएं दी हैं.
प्रीति ने विश्व बैंक के साथ सलाहकार के रूप में भी कार्य कर चुकी हैं. सूदन ने तंबाकू नियंत्रण के फ्रेमवर्क कन्वेंशन के COP-8 की अध्यक्षता भी कर चुकी है.
कौन करता है अध्यक्ष की नियुक्ति:
संघ लोक सेवा आयोग (यूपीएससी) भारत में एक स्वतंत्र संवैधानिक केंद्रीय भर्ती संस्था है. भारतीय संविधान में यूपीएससी का उल्लेख भाग XIV में अनुच्छेद 315 से अनुच्छेद 323 के तहत किया गया है.
यूपीएससी के अध्यक्ष और अन्य सदस्यों की नियुक्ति भारत के राष्ट्रपति द्वारा की जाती है. यूपीएससी का कोई भी सदस्य छह वर्षों की अवधि या 65 वर्ष की आयु तक, जो भी पहले हो, अपने पद पर रह सकता है.
किसे सौंपते है अध्यक्ष अपना इस्तीफा:
संघ लोक सेवा आयोग का कोई सदस्य अपने पद से इस्तीफा देना चाहता है तो उसे अपना लिखित इस्तीफा भारत के राष्ट्रपति को सौंपना होता है. वहीं यूपीएससी के अध्यक्ष या किसी अन्य सदस्य को केवल भारत के राष्ट्रपति के आदेश से ही उनके पद से हटाया या निलंबित किया जा सकता है.
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